कहीं पर भी सड़क दुर्घटना हो जाए तो मदद जरूर करें क्योंकि उसमें अब किसी भी तरह का पुलिस केस मददगार पर नहीं बनता। इससे आगे बढ़ते हुए अब सरकार ने सड़क दुर्घटनाओं में घायल होने वालों के लिए नए निर्देश जारी किए हैं।
केंद्र सरकार ने हिमाचल प्रदेश को यह नई गाइडलाइन भेज दी है जिसपर यहां अमल भी शुरू कर दिया गया है। बताया जाता है कि अब जरूरी नहीं है कि सरकार से मान्यता प्राप्त किसी अस्पताल को ही घायलों का इलाज करने के लिए केंद्र सरकार मदद करेगी बल्कि किसी भी अस्पताल को यह पैसा दिया जाएगा ताकि मौके पर घायल व्यक्ति का इलाज हो सके।
केंद्र सरकार ने जो गाइड लाइन जारी की है उसमें कई तरह से मदद मिल पाएगी क्योंकि इससे पहले कई तरह की कमियां इसमें सामने आ रही थीं।
सड़क दुर्घटना में घायलों को आसानी से चिकित्सा सुविधा नहीं मिल पाती थी जिसे अब सरल बना दिया गया है। किसी भी अस्पताल में यदि किसी घायल को ले जाया जाएगा तो उसके इलाज का प्रारंभिक खर्च केंद्र सरकार वहन करेगी। डेढ़ लाख रुपए तक का मुफ्त इलाज लोगों को मिल पाएगा।
तीन घंटे में पुलिस को देंगे सूचना
यदि अस्पताल को पुलिस द्वारा तीन घंटे के दौरान जानकारी नहीं दी जाती है, तो ऑनलाइन यह मामला सीधे डीजीपी कार्यालय को चला जाएगा और फिर डीजीपी कार्यालय को इसमें हस्तक्षेप करते हुए संबंधित क्षेत्र के पुलिस स्टेशन को सक्रिय करना होगा।
इससे पहले इस तरह की व्यवस्था नहीं रहती थी। वैसे ऐसी कोई भी दुर्घटना होती है, तो यहां पुलिस तत्काल वहां पहुंचकर राहत कार्यों में जुटती है। सरकार की ओर से 251 अस्पतालों को जोड़ा गया है, जहां पर सडक़ दुर्घटना होने पर घायलों को तुरंत इलाज की व्यवस्था है।