हिन्दू पंचांग के अनुसार बुधवार को रामनवमी का पर्व पूरे देश में धूमधाम से मनाया जा रहा है। वाल्मीकि रामायण के अनुसार चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि,कर्क लग्न और अभिजीत मुहूर्त में प्रभु श्री राम का जन्म हुआ था। इसी लिए नवरात्रों के अंतिम दिन रामनवमी का पर्व मनाया जाता है।
नवरात्रों की रही धूम
समस्त जोगिन्दरनगर उपमंडल के तहत माँ सिमसा मंदिर,माँ चतुर्भुजा,माँ बंडेरी, माँ जालपा,माँ भभौरी,माँ गढ़वाली,माँ आशापुरी,माँ सुरगनी सहित सभी मंदिरों में नवरात्रों के अवसर पर खूब चहल पहल रही.
हुआ माँ की महिमा का गुणगान
क्षेत्र के सभी मंदिरों में रात्रि जागरण के द्वारा माँ की महिमा का गुणगान हुआ। भक्त मण्डली द्वारा विभिन्न मंदिरों व घरों में माँ भगवती की महिमा का गुणगान किया गया।
शुभ मुहूर्त
सूर्य उत्तरायण, उत्तर गोल, बसन्त ऋतुः। राहुकाल मध्याह्न 12 बजे से 01 बजकर 30 मिनट तक। नवमी तिथि अपराह्न 03 बजकर 15 मिनट तक उपरांत दशमी तिथि का आरंभ।
मघा नक्षत्र
आश्लेषा नक्षत्र सूर्योदय से लेकर अगले दिन प्रातः 07 बजकर 57 मिनट तक उपरांत मघा नक्षत्र का आरंभ। शूल योग रात्रि 11 बजकर 51 मिनट तक उपरांत गण्ड योग का आरंभ। कौलव करण अपराह्न 03 बजकर 15 मिनट तक उपरांत गर करण का आरंभ। चंद्रमा दिन रात कर्क राशि पर संचार करेगा।
विजय मुहूर्त
ब्रह्म मुहूर्त सुबह 4 बजकर 25 मिनट से 5 बजकर 9 मिनट तक। विजय मुहूर्त दोपहर 2 बजकर 30 मिनट से 3 बजकर 22 मिनट तक रहेगा। निशिथ काल मध्यरात्रि 11 बजकर 58 मिनट से 1 बजे तक। गोधूलि बेला शाम 6 बजकर 47 मिनट से 7 बजकर 9 मिनट तक। रवि योग पूरे दिन रहेगा।
अशुभ मुहूर्त
राहुकाल दोपहर 12 बजे से 1 बजकर 30 मिनट तक। सुबह 7 बजकर 30 मिनट से 9 बजे तक यमगंड रहेगा। सुबह 10 बजकर 30 मिनट से 12 बजे तक गुलिक काल रहेगा।
दुर्मुहूर्त काल दोपहर 11 बजकर 55 मिनट से 12 बजकर 47 मिनट तक रहेगा। गण्ड मूल और आडल योग पूरे दिन रहेगा।
आज का उपाय
हल्दी मिश्रित सिंदूर चरणों में अर्पित करें और 11 दूर्वा गणेशजी के पेट पर चिपकाएं ।