शिमला : राज्य के सवा लाख न्यू पेंशन स्कीम कर्मचारियों के लिए ओल्ड पेंशन को बहाल करनी है या नहीं। और यदि राहत देनी भी है तो वह किस रूप में होगी, इन सारे सवालों पर अब मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ही फैसला लेंगे। मुख्य सचिव आरडी धीमान की अध्यक्षता में बुधवार को हाई पावर कमेटी की बैठक सचिवालय में हुई।
इसमें सभी विकल्पों पर विचार के बाद दो निर्णय लिए गए हैं। एक तो यह कि सभी विकल्प मुख्यमंत्री के सामने रखे जाएंगे और पहले उनका पक्ष जाना जाएगा। दूसरा निर्णय यह है कि ओल्ड पेंशन के लिए गठित इस कमेटी को विस्तार दिया जाएगा, जिसमें कर्मचारी प्रतिनिधियों को भी शामिल किया जाएगा। इसमें एक ऐसे युवा आईएएस को भी जोड़ा जा सकता है, जो खुद एनपीएस के दायरे में हो।
कर्मचारियों की दिक्कतों को सुनने के लिए बनाई गई हाई पावर कमेटी की बैठक मुख्य सचिव आरडी धीमान की अध्यक्षता में हुई। 3:30 बजे शुरू हुई यह बैठक करीब पौना घंटा चली और इसमें कमेटी के सदस्यों के अलावा न्यू पेंशन स्कीम को डील कर रहे सभी अधिकारियों को बैठक में बुलाया गया था। इस बैठक में अतिरिक्त मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना के अलावा वित्त सचिव अक्षय सूद, अमरजीत सिंह, पेंशन देख रहे दीपक भारद्वाज और श्रवण नेगी को भी बुलाया गया था।
मुख्य सचिव ने ओल्ड पेंशन को बहाल करने की संभावनाओं पर सभी अधिकारियों से फीडबैक लिया और इस बारे में अन्य राज्यों में अब तक लिए गए फैसलों की जानकारी भी ली। राज्य में कितने कर्मचारी एनपीएस में हैं और इनका कंट्रीब्यूशन अभी तक कितना जमा हो चुका है, इससे संबंधित डाटा को भी मुख्य सचिव ने देखा।
इसके बाद यह तय हुआ है कि भारत सरकार से इस मामले को उठाया जाएगा और साथ ही कर्मचारी संघों से इस बारे में और विकल्प लिए जाएंगे। इसके लिए हाई पावर कमेटी में कर्मचारी संघों के प्रतिनिधियों को शामिल किया जा सकता है, लेकिन इस सारे फैसले पर मुख्य सचिव अब खुद मुख्यमंत्री से बात करेंगे और उसके बाद ही आगे का रास्ता तय होगा। राजस्थान सरकार को भारत सरकार से वापस भेजे गए जवाब के दस्तावेज भी इस कमेटी में रखे गए।
एक विकल्प के तौर पर राज्य सरकार के कंट्रीब्यूशन को 14 फीसदी से बढ़ाकर 20 फीसदी करने का सुझाव भी बैठक में आया, लेकिन फिर तय यह हुआ कि पहले मुख्यमंत्री से बात की जाए और यह पूछा जाए कि भारत सरकार के स्तर पर जो उनसे चर्चा हुई है, वह रुख क्या था। इसलिए सीएम जयराम ठाकुर के निर्देशों के बाद ही अगला कदम लिया जाएगा।
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर दिल्ली प्रवास पर रवाना हो रहे हैं। वह गुरुवार सुबह दिल्ली जाएंगे। मुख्यमंत्री का शाम को उज्जैन महाकाल दर्शन के लिए जाने का कार्यक्रम है। वहां से लौटने के बाद आउटगोइंग प्रेसिडेंट रामनाथ कोविंद के डिनर में वह शामिल होंगे और फिर नई राष्ट्रपति के शपथ ग्रहण का हिस्सा भी बनेंगे।
इसलिए तीन दिन के प्रवास के बाद शिमला मुख्यमंत्री लौटेंगे और फिर दिल्ली में होने वाली भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों की सीएम काउंसिल की बैठक के लिए दोबारा जाएंगे। मुख्यमंत्री के इन दिल्ली दौरों के कारण राज्य मंत्रिमंडल की बैठक को फिर से टाला गया है।
कैबिनेट की बैठक 27 जुलाई के बजाय 28 जुलाई को होगी। दिल्ली में चीफ मिनिस्टर काउंसिल की बैठक बुलाए जाने के कारण 1 दिन और बदलाव किया गया है। इस काउंसिल की बैठक के लिए भारत सरकार से ही एजेंडा बनकर आया है जिस पर आज मुख्यमंत्री ने सभी संबंधित विभागों के साथ बैठक की। इसमें राष्ट्रीय शिक्षा नीति से लेकर भारत सरकार के सभी कार्यक्रमों को लेकर फीडबैक लिया गया। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर सुबह दिल्ली जा रहे हैं।
आगामी विधानसभा चुनाव की एक ट्रेनिंग के लिए सभी जिलों के डीसी बुधवार को शिमला में थे। बिलासपुर, किन्नौर तथा लाहुल-स्पीति के उपायुक्तों के अलावा सभी ने इस ट्रेनिंग में हिस्सा लिया। होटल होलीडे होम में हुई वर्कशॉप के बाद जिलाधीशों ने नए मुख्य सचिव आरडी धीमान से भी मुलाकात की और उन्हें शुभकामनाएं दी।