हिमाचल प्रदेश में सरकारी कर्मचारियों के राशन कार्ड को अब उनके सरकारी रिकार्ड से लिंक किया जाएगा। राज्य सरकार के मानव संपदा पोर्टल यानी पीएमआईएस पर इसकी मैपिंग करनी होगी।
आईटी विभाग ने सभी सरकारी महकमों को यह निर्देश भेजे है। हर कर्मचारी को अपने परिवार की आईडी या राशन कार्ड आईडी की सूचना देनी होगी। सभी सरकारी कर्मचारियों का राशन कार्ड अपलोड हो जाने के बाद इसका फायदा कर्मचारियों और सरकार दोनों को होगा।
राज्य सरकार को अगली योजनाएं बनाने में इस डाटा का इस्तेमाल करने में मदद मिलेगी। कर्मचारियों को भविष्य में किसी तरह के सर्टिफिकेट की जरूरत पड़ने पर सरकारी दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने होंगे और ऑनलाइन ही यह सुविधा मिल जाएगी।
आईटी विभाग के निर्देश पर उच्च शिक्षा निदेशक अमरजीत शर्मा ने भी अपने सभी सरकारी कालेज के प्रिंसीपलों को यह निर्देश भेजे है। हर कालेज को मानव संपदा पोर्टल पर हर कर्मचारी का राशन कार्ड मैप करवाना होगा।
यह प्रक्रिया किस तरह रहेगी, इसके लिए अलग से निर्देश संलग्न किए गए है। दरअसल, सूचना प्रौद्योगिकी विभाग ने हम परिवार प्रोजेक्ट के लिए इस तरह का एक प्रस्ताव तैयार किया है, जिसे सभी महकमों को भेजा गया है।
इसके तहत परिवार रजिस्टर या राशन कार्ड कर्मचारी के सरकारी रिकार्ड वाले पोर्टल पर लिंक करने होंगे। यह परिवार रजिस्टर हिमाचल प्रदेश पंचायती राज एक्ट 1994 के तहत तैयार करना आवश्यक है।
इससे कर्मचारियों के परिवार के सदस्यों से संबंधित सूचना सरकारी रिकार्ड में आ जाएगी और इसे पब्लिक डिसटीब्यूशन सिस्टम या ई कल्याण जैसी स्कीमों में भी इस्तेमाल किया जा सकेगा। हर कर्मचारी को एक यूनिक आईडी इसके जरिए उपलब्ध करवाई जाएगी।
इससे संबंधित कर्मचारियों को भी सरकारी डॉक्यूमेंट लेने या किसी तरह का सर्टिफिकेट बनवाने में बाद में मदद मिलेगी। आईटी विभाग का कहना है कि हम परिवार प्रोजेक्ट का उद्देश्य राज्य के नागरिकों को मिलने वाले लाभों को और सरल करना है।
साथ ही सरकार को डिसीजन मेकिंग में डाटा उपलब्ध करवाना है, ताकि सरकारी स्कीमों में खर्च की गति को भी बढ़ाया जा सके।